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मेडिकल प्रोटेक्शन अध्यादेश के आश्वासन के बाद विरोध व कैंडल जलाने का निर्णय स्थगित

कोडरमा। चिकित्सको और स्वास्थ्यकर्मियों पर हमला एवं उनकी क्षति को ले कर केंद्र सरकार द्वारा अध्यादेश ले आया गया है। जिसमे 6 माह से 7 वर्ष तक सजा एवं 50 हज़ार से 5 लाख तक का जुर्माना का प्रावधान है। उम्मीद की जा रही है,जल्द ही महामहिम राष्ट्रपति महोदय द्वारा इस अध्यादेश पर हस्ताक्षर हो जायेगा।

आईएमए,झासा,सहित जितने भी चिकित्सक एवं स्वास्थ्य कर्मचारियों से सम्बंधित संगठन है सभी लोग अध्यादेश लाने की आश्वासन के बाद बहुत खुश है। साथ ही 22 अप्रैल की शाम प्रस्तावित विरोध और कैंडल जलाने की कार्यक्रम को स्थगित करने का फैसला लिया है। झासा के प्रदेश उपाध्यक्ष डॉ शरद कुमार ने बताया कि हमारी ये माँग वर्षो से की जाती रही है। पिछली राज्य सरकार तो इसे ठंढे बस्ते में डाल दी थी। उन्होंने अपने संगठन की ओर से देश के माननीय प्रधानमंत्री, गृहमंत्री,स्वास्थ्य मंत्री,विभाग के केंद्रीय पदाधिकारियों का आभार प्रकट किया है। साथ ही माँगो को पुरजोर तरीके से समर्थन करने एवं उसको इलेक्ट्रॉनिक एवं प्रिंट मीडिया में लाने के लिए सभी मीडिया का भी बहुत आभार जताया है।

इधर इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के अध्यक्ष डॉ एसके झा, सचिव डॉ एसके राज,संरक्षक डॉ उर्मिला चौधरी, डॉ राम सागर सिंह, डॉ रमन कुमार,डॉ नरेश पंडित, डॉ विकास चंद्रा, डॉ अभिलाषा गुप्ता ने भी अध्यादेश लाने के आश्वासन पर अपनी प्रसन्नता जाहिर की है। साथ ही केंद्र सरकार को धन्यवाद दिया है। आईएमए कोडरमा ने कहा कि डॉक्टरों व चिकित्सा कर्मियों पर हमला रोकने का एकमात्र उपाय डॉक्टरों के लिए सुरक्षा उपलब्ध कराना सरकार की जिम्मेदारी है। मेडिकल प्रोटेक्शन एक्ट लागू करने की मांग सालों से की जा रही थी। केंद्र सरकार ने आश्वाशन दिया है कि मेडिकल प्रोटेक्शन को लेकर अध्यादेश ला रही है। जिसके बाद पूर्व से घोषित कैंडल जलाकर विरोध कार्यक्रम को स्थगित कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि जल्द ही मेडिकल प्रोटेक्शन से संबधित अध्यादेश महामहिम राष्ट्रपति के समक्ष हस्ताक्षर के लिए जाएगा। जिसके बाद यह कानून देशभर में लागू हो जाएगा। जिससे डॉक्टर व चिकित्सा सेवा से जुड़े लोग निर्भय होकर अपनी जिम्मेवारी बखूबी निभा पाएंगे।

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